Control over food is necessary, otherwise...

खाने पर कंट्रोल जरूरी, नहीं तो…
स्वास्थ्य से जुड़ी ढ़ेरों सावधानी की बातें जानने के बाद भी यदि आप कुछ भी खा लेने को तैयार रहते हैं तो अब आपको अपनी इस आदत को छोड़ना होगा। वरना आपका पेट एक तरह से डंप बन जाएगा।

जी हां, बात थोड़ी अजीब लगेगी लेकिन ये सच है! आपको अपने पेट को कूड़ादान बनाने से बचना होगा। खाने से पहले सोचिए-समझिए और तब ही इसे पेट का रास्ता दिखाइए।

आज हम आपको कुछ ऐसे टिप्स बता रहें हैं, जिनका ख्याल आप खाने से पहले जरूर रखें।

वो स्नैक्स मेहमानों के लिए हैं:

आप अक्सर मेहमानों के लिए घर में स्नैक्स बनाते हैं और फिर बच जाने पर उन्हें खुद ही खा जाते हैं। क्योंकि मेहमान आए नहीं तो स्नैक्स खत्म तो करने ही हैं। लेकिन यहां आपको फिर याद रखना है कि ये आपका पेट है, कूड़ादान नहीं। इसमें वही डालिए जो जरूरी है।

स्नैक्स उतने ही लाईए जितने जरुरत हो। इसका एक तरीका ये भी है कि आप जब मेहमान आने वाले हों तब ही स्नैक्स लाएं। इसके अलावा बस थोड़ी मात्रा में ही स्नैक्स घर पर रखें, ज्यादा नहीं।

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जरूरत नहीं तो घर पर नहीं:

याद रखिए, जो खाना आपके स्वास्थ्य के लिए अच्छा नहीं है, उसे घर पर नहीं रखें। मिठाई, अनहेल्थी स्नैक्स, चॉकलेट आदि को अपने घर में ना रखें। इन चीजों को खरीदने से भी बचें। इन सभी चीजों को खाना भी पेट को कूड़ेदान बनाने जैसा है।

चबाकर खाना है जरूरी:

ये तो आपको कभी न कभी किसी न किसी ने बताया होगा कि खाना हमेशा चबाकर ही खाना चाहिए। इसलिए इसे धीरे-धीरे आराम से खाएं। लेकिन ऐसा नहीं होता है। अधिकतर लोगों को खाना स्वादिष्ट लगता है तो ज्यादा और जल्दी खा लेना चाहते हैं। ये आदत आपके स्वास्थ्य के लिए बिल्कुल भी अच्छी नहीं है। ज्यादा खाना मतलब ज्यादा कैलोरी। यदि खाना चबाएंगे नहीं तो ये पचेगा नहीं। इससे कब्ज जैसी दिक्कत भी हो सकती है।

थाली हो छोटी:

यदि आपकी थाली छोटी होगी तो आप खाना भी कम लेंगे। कह सकते हैं ज्यादा लेना चाहेंगे तो भी नहीं ले पाएंगे, इसलिए जरूरी है कि आप छोटे बर्तनों में खाना लें। छोटे बर्तनों में खाना खाने से कैलोरी की मात्रा भी शरीर में कम हो जाती है। इसीलिए बड़े बर्तनों का इस्तेमाल करने से बचें।

बच्चों का खाना, आप खा लेंगी:

अक्सर ऐसा होता है कि बच्चों का बचा हुआ खाना, चिप्स या चॉकलेट माएं फेंकने की बजाय खुद खा लेती हैं। लेकिन खाना बचाना के चक्कर में आप अपने पेट के साथ लापरवाही कर रही हैं। बच्चों को उतना ही खाना सर्व करें जितनी उनकी पेट को जरुरत है।

टेंशन फ्री होकर खाइए:

खाना जब भी खाएं, टेंशन फ्री होकर खाएं। कभी चिंता में कम या ज्यादा खाने से बचें। क्योंकि कभी बहुत ज्यादा खा लेते हैं तो वजन बढ़ने लगता है, फिर इसे कम करने के लिए कुछ ज्यादा ही कम खाने लगते हैं। एक शोध की मानें तो ये दोनों आदतें ही गलत हैं। बहुत ज्यादा या बहुत कम खाने की आदत बीमारियों को न्यौता ही देती है। इसलिए जरूरत के हिसाब से टेंशन फ्री होकर खाएं।

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