One can earn lakhs of rupees by becoming a successful writer

एक सफल राइटर बनकर कमा सकते हैं लाखों रुपये
देश-दुनिया में सदियों से राइटर्स और पोएट्स ने लोगों के साथ-साथ मानव समाज और सभ्यता पर सतत प्रभाव डाला है।

हमारे देश भारत में संत कबीर, रविदास, गुरु नानक देव ने जहां ईश्वर-भक्ति के प्रचार के लिए कई नए राइटिंग स्टाइल्स का इस्तेमाल किया है तो वहीं, मिर्जा गालिब, महादेवी वर्मा, जयशंकर प्रसाद, भारतेंदु जैसे अनेक राइटर्स ने भी शानदार लेखन किया है। इसी तरह, शेक्सपियर, जेके रोलिंग, मार्क ट्वेन, लियो टॉलस्टॉय, जेन आॅस्टिन और चार्ल्स डेकिन्स और होमर ने भी पूरी दुनिया के ज्ञान और जानकारी को अपनी राइटिंग्स से समृद्ध किया है।

वैसे तो राइटिंग टैलेंट और स्किल्स के लिए किसी खास ट्रेनिंग की जरूरत नहीं होती है लेकिन, इस स्पेशलाइजेशन के युग में यदि आप एक सफल राइटर बनना चाहते हैं तो आपको अपने लैंग्वेज स्किल्स को हमेशा सुधारना होगा और इसके साथ ही आपको क्रिएटिव राइटिंग स्किल्स में भी पेशेवर ट्रेनिंग अवश्य लेनी चाहिए।

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इसलिए, इस आर्टिकल में हम आपके लिए एक सफल राइटर बनने के कुछ टिप्स की जानकारी प्रस्तुत कर रहे हैं।

राइटिंग की प्रमुख किस्में:

  1. पेशेवर राइटिंग: कॉपी राइटर, कंटेंट राइटर, स्क्रिप्ट राइटर, ट्रांसलेटर आदि सभी राइटर्स जो कहीं जॉब करते हैं पेशेवर राइटर्स होते हैं। इन्हें अपने लेखन के बदले वेतन मिलता है।
  2. फ्रीलांस राइटिंग: ऐसे राइटर्स जो सेल्फ-एम्पलॉएड होते हैं और फ्रीलांसिंग के तहत राइटिंग का पेशा अपनाते हैं, इस फील्ड में शामिल होते हैं। फ्रीलांसर्स को अपने कस्टमर्स की जरूरत के मुताबिक किसी भी स्टाइल या टॉपिक पर लिखना होता है। ये राइटर्स भी अपनी आजीविका लेखन से ही अर्जित करते हैं।

आवश्यक शिक्षा और स्किल सेट:

एक पेशेवर राइटर बनने के लिए आपके पास केवल लिखने का कौशल होना ही काफी नहीं है बल्कि कुछ अन्य निम्नलिखित प्वाइंट्स का ध्यान भी आपको पूरी तरह रखना होगा जैसे कि:

  • अधिकांश राइटिंग जॉब्स के लिए विद्यार्थी ने कम से कम किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से 12वीं की क्लास पास की हो।
  • राइटिंग शुरू करने से पहले ही किसी प्रोफेशनल राइटिंग फील्ड को चुन लेना बहुत आवश्यक है जैसे कि आप एक फिक्शन राइटर बनना चाहते हैं या पोएट, ब्लॉगर बनना चाहते हैं या स्क्रिप्ट राइटर।
  • राइटिंग स्टाइल में ट्रेनिंग लेना भी काफी बेहतर रहता है क्योंकि मुख्यत: दो किस्म के राइटिंग स्टाइल्स होते हैं-औपचारिक और अनौपचारिक लेखन।
  • बिजनेस, हेल्थकेयर, मार्केटिंग या फैशन राइटिंग शुरू करने से पहले आप राइटिंग फील्ड में इंटर्नशिप जरुर पूरी कर लें। अपने कॉलेज के दिनों में ही आप एक सफल कॉपी-राइटर या जर्नलिस्ट बनने के लिए इंटर्नशिप कर सकते हैं।
  • किसी कंटेंट राइटर, ट्रांसलेटर, स्क्रिप्ट राइटर या कॉपी राइटर आदि के तौर पर एक जॉब हासिल करके फील्ड में राइटिंग का अनुभव प्राप्त करें।
  • लिखने की निरंतर प्रैक्टिस करते रहें और राइटिंग की फील्ड में अपना अनुभव लगातार बढ़ाते रहें।
  • राइटिंग फील्ड में पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री प्राप्त करके आप अपने राइटिंग स्किल्स को और ज्यादा निखार सकते हैं।
  • अपनी राइटिंग फील्ड में पीएचडी की डिग्री हासिल करने के बाद तो आपको राइटिंग फील्ड में खास पहचान मिल ही जाती है।

भारत में बेहतरीन राइटिंग कोर्सेज:

  • सर्टिफिकेट इन क्रिएटिव राइटिंग
  • डिप्लोमा इन क्रिएटिव राइटिंग
  • डिप्लोमा इन क्रिएटिव राइटिंग (डिस्टेंस लर्निग)
  • पीजी डिप्लोमा इन क्रिएटिव राइटिंग
  • संबद्ध लैंग्वेज में ग्रेजुएशन/ पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री
  • संबद्ध लैंग्वेज में एमफिल/ पीएचडी की डिग्री।

भारत की प्रमुख यूनिवर्सिटीज से करें राइटिंग कोर्स:

आपकी सुविधा के लिए हम निम्नलिखित यूनिवर्सिटीज और इंस्टीट्यूट्स की एक लिस्ट पेश कर रहे हैं ताकि आप यहां हायर एजुकेशन प्राप्त करके अपने लेखन कौशल को और अधिक निखार सकें:

  • इंदिरा गांधी नेशनल ओपन यूनिवर्सिटी, नई दिल्ली
  • दिल्ली विश्वविद्यालय, नई दिल्ली
  • जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी, नई दिल्ली
  • जामिया मिलिया इस्लामिया, नई दिल्ली
  • कोलकाता यूनिवर्सिटी, कोलकाता
  • कर्नाटक स्टेट ओपन यूनिवर्सिटी, कर्नाटक
  • भारतीय विद्या भवन, नई दिल्ली
  • भीमराव अंबेडकर ओपन यूनिवर्सिटी, अहमदाबाद
  • ब्रिटिश काउंसिल आॅफ इंडिया

भारत में उपलब्ध हैं ये करियर आॅप्शन्स:

आजकल दुनिया में प्रत्येक क्षेत्र में स्पेशलाइजेशन देखने को मिलता है और राइटिंग की फील्ड भी इससे अछूती नहीं है। एक राइटर के तौर पर आजकल आपके पास राइटिंग की फील्ड में कई खास करियर आॅप्शन्स मौजूद हैं जो आपको मान-सम्मान दिलवाने के साथ-साथ अच्छा सैलरी पैकेज भी आॅफर करते हैं जैसे कि:

कॉपी राइटर:

ये राइटर्स अक्सर एडवरटाइजिंग की फील्ड से जुड़े होते हैं और विभिन्न गुड्स एंड सर्विसेज या प्रोडक्ट्स के प्रचार-प्रसार के लिए कैची स्लोगन्स/ डिस्क्रिप्शन आदि तैयार करते हैं। ये राइटर्स प्रिंट कैटलॉग्स, ब्रोशर्स, मेल्स और कमर्शियल स्क्रिप्ट्स तैयार करते हैं।

कॉपी एडिटर:

आमतौर पर ये पेशेवर किसी भी राइटिंग मटीरियल के फैक्ट्स को चेक करते हैं ताकि प्रकाशन से पहले ही आर्टिकल की गलतियों को सुधार लिया जाए। ये पेशेवर राइटिंग मटीरियल की प्रूफ-रीडिंग, करेक्शन, ग्रामर एंड सेंटेंस फॉर्मेशन, फॉर्मेटिंग इश्यूज आदि चेक करते हैं और आर्टिकल का फाइनल ड्राफ्ट तैयार करते हैं जो पहले ड्राफ्ट से ज्यादा बढ़िया और एरर-लेस होता है।

कंटेंट राइटर:

विभिन्न टॉपिक्स पर रिसर्च करके ये राइटर अपने आर्टिकल्स तैयार करते हैं। इनके आर्टिकल्स में इनफॉर्मेशन, जानकारी या अन्य किस्मों के विवरण दिए गए होते हैं।

ट्रांसलेटर:

इन पेशेवरों को कम से कम दो भाषाओं में महारत हासिल होती है और किसी एक भाषा (सोर्स लैंग्वेज) की विषय सामग्री को ये लोग किसी दूसरी भाषा (टारगेट लैंग्वेज) में ट्रांसलेट करते हैं ताकि जिन लोगों को कोई भाषा समझ नहीं आती है, वे लोग अपनी भाषा में उस न समझ में आने वाली भाषा की विषयवस्तु पढ़कर लाभ उठायें। एक ट्रांसलेटर के तौर पर आप प्रिंट, फिल्म और टेलीविजन इंडस्ट्री में काम कर सकते हैं जहां आप मूवीज, शोज, डाक्यूमेंट्रीज और आर्टिकल्स को ट्रांसलेट करते हैं।

ब्लॉगर:

ब्लॉगिंग अब राइटिंग फील्ड में कोई नया शब्द या कॉन्सेप्ट नहीं रह गया है। कुछ लोग ब्लॉगिंग के माध्यम से अपने राइटिंग स्किल्स प्रदर्शित करते हैं तो अन्य कई लोगों के लिए ब्लॉगिंग अब पूरी तरह से एक प्रोफेशनल राइटिंग फील्ड है क्योंकि ब्लॉगिंग के जरिये लोग आजकल अपना कारोबार बढ़ाते हैं। आजकल आप एक फूड ब्लॉगर, मेक-अप एंड ब्यूटी ब्लॉगर, फैशन ब्लॉगर, ट्रेवल ब्लॉगर या किसी ऐसे विषय में ब्लॉगर बन सकते हैं जिस विषय में आपको काफी इंटरेस्ट है।

जर्नलिस्ट्स:

ये राइटर्स इनफॉर्मेशन- इंटरव्यूज, फैक्ट्स, रिपोर्ट्स, इवेंट्स आदि की जानकारी जुटा कर आर्टिकल्स तैयार करते हैं और फिर उन आर्टिकल्स की एडिटिंग और प्रूफ-रीडिंग करने के बाद इंटरनेट, टेलीविजन, न्यूजपेपर्स, मैगजीन्स आदि में पढ़ने लायक फॉर्मेट में प्रस्तुत करते हैं। अगर आप रिपोर्टिंग नहीं कर सकते हैं तो भी आप अपने डेस्क से विभिन्न आर्टिकल्स की एडिटिंग कर सकते हैं।

एक्वीजीशन एडिटर:

इस पेशे के तहत आप उभरते हुए राइटर्स के आर्टिकल्स या राइटिंग मटीरियल्स को एडिटोरियल बोर्ड में पेश करने के लायक बनाते हैं और भावी राइटर्स तथा पब्लिशिंग हाउस के बीच कॉन्ट्रैक्ट के टर्म्स एंड कंडीशन्स आदि निर्धारित करने में सहायता करते हैं।

स्पीच राइटर:

इन पेशेवरों का काम नेताओं और अन्य सभी एक्सपर्ट लोगों के लिए स्पीच या भाषण तैयार करना होता है। इन पेशेवरों द्वारा तैयार की गई स्पीच प्रभावी और सुनने लायक होनी चाहिए ताकि लोगों को स्पीच सुनने में आनन्द आने के साथ-साथ जरुरी जानकारी भी मिल सके।

स्टोरी/ स्क्रिप्ट राइटर:

ये लोग फिल्मस, टेलीविजन और विभिन्न सीरियल्स के लिए स्टोरी या स्क्रिप्ट तैयार करते हैं।

टेक्निकल राइटर:

हर रोज नई टेक्नोलॉजी अपडेट होने से टेक्निकल राइटर की काफी मांग बढ़ी है। आपको बता दें कि हर रोज नई-नई टेक्नोलॉजी मार्केट में आ रही है, नई टक्नोलॉजी और नए प्रॉडक्ट को लोगों तक पहुंचाने के लिए कंपनियों को टेक्निकल राइटर की जरूरत पड़ती है।

ये टेक्निकल राइटर अपने लेखन कौशल से उस प्रॉडक्ट के बारे में लिखते है ताकि टार्गेट आॅडियंस उस प्रॉडक्ट की क्वालिटी के बारे में अच्छे से जान सके। एक टेक्निकल राइटर प्रॉडक्ट के मैन्युअल, अपेन्डिक्स और कैटलॉग को डेवलप करने का काम करता है। आज एक टेक्निकल राइटर की जॉब मार्केट में अच्छी खासी मांग है।

भारत में राइटर्स को मिलने वाला सैलरी पैकेज

हमारे देश में किसी कंटेंट राइटर को एवरेज 2.5 लाख रुपये का सालाना सैलरी पैकेज मिलता है और एक राइटर आम तौर पर साढ़े तीन लाख रुपये सालाना तक कमाता है। इसी तरह, टैक्निकल राइटर की एवरेज सैलरी 4.7 लाख रुपये सालाना तक होती है।

जैसे-जैसे राइटिंग की फील्ड में आपका अनुभव बढ़ता जाता है, उसके मुताबिक आपकी कमाई में भी इजाफा होता जाता है। माइक्रोसॉफ्ट एक्सेल, राइटिंग प्रोसीजर्स एंड डॉक्यूमेंटेशन और क्रिएटिव राइटिंग के स्किल्स आपकी सैलरी में अच्छी-खासी बढ़ोतरी करते हैं। राइटर्स को आमतौर पर रॉयलिटी या कॉन्ट्रैक्ट के मुताबिक भी इनकम प्राप्त होती है।

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